ग्वालियर। जिन प्राइवेट स्कूलों
की 10वीं व 12वीं कक्षा में परीक्षार्थियों की संख्या अप्रत्याशित रूप से
बढ़ी है, उनकी जाँच संबंधित एसडीएम भी करें। यह जाँच एक हफ्ते में पूर्ण कर
दोषी स्कूल प्राचार्यों और संचालकों के खिलाफ एफआईआर कराई जाए। साथ ही
स्पष्टीकरण का जवाब संतोषप्रद न होने पर मान्यता अधिनियम के तहत भी
कार्रवाई की जाए। यह निर्देश कलेक्टर डॉ. संजय गोयल ने अंतरविभागीय समन्वय
बैठक में दिए।
मंगलवार को यहाँ कलेक्ट्रेट के सभागार
में आयोजित हुई बैठक में डॉ. गोयल ने सभी एसडीएम को हिदायत दी कि संबंधित
संकुल प्राचार्यों से दस्तावेज लेकर प्राइवेट स्कूलों में अप्रत्याशित रूप
से बढ़े विद्यार्थियों के कारणों की बारीकी से जाँच करें। जिला शिक्षा
अधिकारी ने बताया कि जिले में ऐसे 51 विद्यालय सामने आए हैं, जिनमें बोर्ड
कक्षाओं में 50 से 400 प्रतिशत तक विद्यार्थियों की संख्या बढ़ी है।
कलेक्टर
ने बैठक में यह भी साफ किया कि इस बार की हाईस्कूल व हायरसेकेण्ड्री बोर्ड
परीक्षाओं में हर केन्द्र पर जिला व खण्ड स्तरीय अधिकारी सम्पूर्ण परीक्षा
के दौरान मौजूद रहेंगे। साथ ही संबंधित एसडीएम व तहसीलदार भी केन्द्रों का
औचक निरीक्षण करेंगे। किसी केन्द्र पर नकल होते पाई जाने पर
केन्द्राध्यक्ष समेत ये सभी अधिकारी भी जवाबदेह होंगे।
सीएम
हैल्पलाईन की समीक्षा के दौरान कलेक्टर ने निर्देश दिए कि जिन अधिकारियों
के एल-4 स्तर के अधिक आवेदन लंबित हैं, उनके खिलाफ कार्रवाई के लिये
विभागीय प्रमुख सचिव को लिखा जायेगा। साथ ही इन्हें मुख्यालय छोडऩे की
अनुमति नहीं मिलेगी।
बैठक में जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन
अधिकारी नीरज कुमार सिंह व अपर कलेक्टर रूचिका चौहान सहित जिले के सभी
एसडीएम व विभिन्न विभागों के जिला स्तरीय अधिकारी मौजूद थे।

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